
DGGI और DRI ने 3 व्यक्तियों को गिरफ्तार किया और 400 करोड़ रुपये की जीएसटी चोरी का पर्दाफाश किया.
भोपाल:
मध्यप्रदेश में 400 करोड़ रु. के जीएसटी चोरी कांड के कथित मास्टरमाइंड किशोर वाधवानी को आज इंदौर कोर्ट ने पांच दिन की रिमांड पर भेज दिया. उन्हें मुंबई के फाइव स्टार होटल से ‘ऑपरेशन कर्क’ (क्योंकि वह गुटखा किंग है और गुटखा चबाने से मुंह का कैंसर होता है) के तहत गिरफ्तार किया गया था. चरण चरणों में पिछले 15 दिनों से जारी इस ऑपरेशन के तहत जीएसटी खुफिया महानिदेशालय (डीजीजीआई) और राजस्व खुफिया निदेशालय (डीआरआई) ने 3 व्यक्तियों को गिरफ्तार किया और 400 करोड़ रुपये की जीएसटी चोरी का पर्दाफाश किया. DGGI की जांच से पता चलता है कि मास्टरमाइंडों ने रीयल इस्टेट, होटल इंडस्ट्री और मीडिया सेक्टर की आठ कंपनियों में इन व्यवसायों से जुटाए अवैध धन को लूटने के लिए स्थापित किया था. वाधवानी का पाकिस्तान के पासपोर्ट का संचालन करने वाले प्रमुख संजय माता के साथ भी पाकिस्तानी संबंध हैं. माता को जून के पहले सप्ताह में गिरफ्तार किया गया और न्यायिक हिरासत में भेज दिया गया.
यह भी पढ़ें
एजेंसी ने वाधवानी के करीबी सहयोगी विजय नायर, अशोक डागा, और अमित बोथरा को बिना जीएसटी चालान जारी किए विभिन्न ब्रांड के तंबाकू, पान मसाला और कच्चे माल की आपूर्ति, डीलिंग और बिक्री करने के लिए गिरफ्तार किया है. लेकिन, सीजीएसटी अधिनियम की धारा 70 के तहत दर्ज किए गए अपने बयानों में मालिकों के बाद किशोर वाधवानी को अंतिम वित्तीय लाभार्थी के रूप में पहचाना गया है.
#Gutkaking in remand for 5 days, @INCIndia MP @VTankha asked @ChouhanShivraj@drnarottammisra who patronized wadhwani? @ndtvindia@ndtvpic.twitter.com/bwXLrNdkRM
— Anurag Dwary (@Anurag_Dwary) June 18, 2020
DGGI द्वारा एक आधिकारिक विज्ञप्ति में कहा गया है “DGGI द्वारा प्रारंभिक जांच के आधार पर, यह अनुमान लगाया गया है आरोपी व्यक्तियों और उनके सहयोगियों ने जुलाई, 2019 से मार्च, 2020 तक की अवधि के दौरान अवैध रूप से बेचे गए माल पर लगभग 25 करोड़ रुपये का जीएसटी टाल दिया है. “
इस धोखाधड़ी में कुल शुल्क निहितार्थ लगभग 400 करोड़ रुपये होने का अनुमान है. महामारी लॉकडाउन के महीनों (अप्रैल औरमई, 2020) के दौरान माना जाता है कि इन लोगों ने पान मसाला / तंबाकू की बड़े पैमाने पर अवैध बिक्री और आपूर्ति का सहारा लिया है. वाधवानी का एक अखबार भी है और छापे के दौरान एजेंसी ने मीडिया के स्टिकर के साथ कई ट्रकों को भी जब्त कर लिया, जिसका इस्तेमाल तंबाकू उत्पादों को लॉकडाउन के दौरान ट्रांसपोर्ट के लिए किया जाता था. अब सवाल उठ रहे हैं कि लॉकडाउन के दौरान उन्हें पास किसने जारी किया.
कांग्रेस के राज्यसभा सांसद विवेक तन्खा ने ट्वीट कर सीएम शिवराज सिंह से सवाल पूछा कि क्या कोरोना संकट में अधिकारी महामारी से लड़ने के बजाय बिजनेस कर रहे थे.
क्या यह सच है की गुटका किंग को इंदौर के किसी बड़े अधिकारी का संरक्षण था …क्या DRI ने पाया की लॉक डाउन के दौरान 70 से अधिक मालवाहन गाड़ियों को पास बनाकर दिए गए थे :: साथ ही Mb पर 50 से अधिक बार चर्चा की थी :: @ChouhanShivraj क्या #अधिकारी कोरोना से जंग या बिज़्नेस कर रहे है।
— Vivek Tankha (@VTankha) June 18, 2020
वाधवानी के इंदौर निवास पर तलाशी के दौरान, जांच टीमों पर कथित रूप से हमला किया गया था और इसे भी रिमांड लेने के लिए एक आधार के रूप में उद्धृत किया गया था. हमले के संबंध में एक अलग प्राथमिकी दर्ज की गई है.